हरदा से 1990 की कार सेवा में साथ गए पूर्व विधायक के पैर में लगी थी गोली- शिव नारायण टॉक

हरदा:- अयोध्या में 22 जनवरी 2024 को रामलला की प्राण प्रतिष्ठा होनी है. कुछ ही घंटों के बाद रामलला अपने भव्य मंदिर में विराजेंगे. टेंट से लेकर मंदिर का सफर इतना आसान भी नहीं रहा है. हजारों रामभक्तों के तप, त्याग और बलिदान के बाद आज वह शुभ दिन आया है. ऐसे में इस संघर्ष में हरदा के लोगों का भी योगदान रहा है. उनमें से एक हैं राजनीतिक में रेहकर लंबे तक समाजसेवा करने वाले शिव नारायण टांक. वो कहते है की कारसेवा में उनके साथ उस समय टिमरनी से विधायक रहे मनोहर लाल राठौर भी थे. भगदड़ के समय उनके पैरों में रबड़ की लगी थी जिस वजह से उनके पैरों में जलन पड़ने लगी और वो लगड़ाने लगे, टॉक अपने 5 लोगों के साथ कारसेवा करने अयोध्या पहुंचे थे. शिवनारायण टांक ने कहा कि देश के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी 22 जनवरी को रामलला की प्राण प्रतिष्ठा में शामिल हो रहे हैं. यह सभी देशवासियों के लिए खुशी की बात है. उन्होंने माननीय न्यायालय का भी आभार व्यक्त किया है। 

रामभक्तों की लंबे इंतजार के बाद मनोकामना पूरी होने जा रही है। अयोध्या में 22 जनवरी को रामलला की प्राण प्रतिष्ठा होनी है। ये लम्हा जैसे-जैसे नजदीक आ रहा है, रामभक्तों का उत्साह सातवें आसमान पर जा रहा है। तीन दशक पहले भगवान श्रीराम मंदिर निर्माण की खातिर जेलों की हवा खा चुके युवा रहे कारसेवक अब बुजुर्ग हो चुके हैं। उम्र के इस पड़ाव पर भी उनमें ख़ुशी अपार है। आज भी खुशी की लहर दिखाई देती है। राम जन्मभूमि आंदोलन के समय जनसंघ के नगर अध्यक्ष रहे शिव नारायण टॉक अब 88 साल के हो चुके हैं। वह अब भगवान राम के जन्मस्थान पर प्राण प्रतिष्ठा की तिथि नजदीक आने से खासे उत्साहित हैं। उनका कहना है कि, 'सारी मेहनत साकार हो गई। उनका कहना हैं उस समय मंदिर निर्माण को लेकर कुछ कर गुजरने का जज्बा था जो अब पूरा हो रहा है। 

आज जब रामलला के भव्य दिव्य मंदिर निर्माण ने सारे कष्ट दूर हो गए हैं। शिव नारायण टॉक कहते हैं उनके द्वारा सन् 1990 में कार सेवक के रूप में की गई यात्रा लंबे इंतजार के बाद सफल हुई। उन्हें यकीन नहीं था वो समय को अपनी आंखो से देख पाएंगे। बुजुर्ग हो चुके हैं मगर एक बार रामलला के दरबार में मत्था टेकने की तमन्ना है।